
1 नवंबर से आधार धारक अपना नाम, पता, जन्मतिथि और मोबाइल नंबर बिना दस्तावेजों के ऑनलाइन अपडेट कर सकते हैं। बायोमेट्रिक अपडेट के लिए अभी भी केंद्रों की जरूरत है। पैन लिंक करने की समय सीमा 31 दिसंबर, 2025 है। यूआईडीएआई की ई-केवाईसी और ऑफलाइन केवाईसी बैंकिंग, डाकघर खातों और भुगतान सेवाओं को सरल बनाती है।
आधार कार्ड धारकों की एक महत्वपूर्ण जिम्मेदारी है: अपनी केवाईसी जानकारी को अद्यतन रखना। 1 नवंबर, 2025 से आधार विवरण अपडेट करने की प्रक्रिया काफी आसान हो जाएगी। उपयोगकर्ता सहायक दस्तावेज़ अपलोड किए बिना अपना नाम, पता, जन्मतिथि और मोबाइल नंबर ऑनलाइन अपडेट कर सकेंगे। यूआईडीएआई (भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण) अब अद्यतन प्रक्रिया को सुव्यवस्थित करते हुए आधिकारिक सरकारी डेटाबेस जैसे पैन, पासपोर्ट, ड्राइविंग लाइसेंस, राशन कार्ड, जन्म प्रमाण पत्र और स्कूल रिकॉर्ड के माध्यम से जानकारी को सत्यापित करेगा। आधार केंद्र पर भौतिक रूप से जाना केवल बायोमेट्रिक अपडेट जैसे फिंगरप्रिंट या आईरिस स्कैन के लिए आवश्यक होगा।
आधार अपडेट शुल्क में बदलाव
हालिया शुल्क संशोधन 1 अक्टूबर, 2025 से लागू किए गए हैं:
जनसांख्यिकी अद्यतन: नाम, पता, जन्मतिथि, मोबाइल नंबर या ईमेल अपडेट करने के लिए 75 रुपये (पहले 50 रुपये)।
बायोमेट्रिक अपडेट: फिंगरप्रिंट, आईरिस या फोटो में बदलाव के लिए 125 रुपये (पहले 100 रुपये)।
बच्चों के अपडेट: 5-7 और 15-17 वर्ष की आयु के बच्चों के लिए एक बार का बायोमेट्रिक अपडेट निःशुल्क है। 7-15 आयु वर्ग के बच्चों के लिए अपडेट सितंबर 2026 तक निःशुल्क रहेंगे।
दस्तावेज़-आधारित अपडेट: आधार केंद्रों पर शुल्क 75 रुपये है, लेकिन जून 2026 तक ऑनलाइन अपडेट निःशुल्क हैं।
पैन-आधार लिंक करने की समय सीमा
सभी पैन कार्डों को 31 दिसंबर, 2025 तक आधार से लिंक किया जाना चाहिए। ऐसा नहीं करने पर 1 जनवरी, 2026 से पैन निष्क्रिय हो जाएगा, जिससे संभावित रूप से म्यूचुअल फंड, डीमैट खाते और कर-बचत निवेश के साथ समस्याएं पैदा हो सकती हैं।
आसान आधार ई-केवाईसी
केवाईसी प्रक्रियाओं को सरल बनाने और गोपनीयता में सुधार करने के लिए, यूआईडीएआई और एनपीसीआई ने ऑफ़लाइन केवाईसी और आधार ई-केवाईसी सेतु पेश किया है। ये उपकरण बैंकों और एनबीएफसी को ग्राहकों को उनके पूर्ण आधार नंबर की आवश्यकता के बिना सत्यापित करने की अनुमति देते हैं। खाता खोलने या निवेश प्रक्रियाओं के लिए केवल सक्रिय और गैर-डुप्लिकेट आधार नंबर ही स्वीकार किए जाएंगे। अमान्य या डुप्लिकेट आधार नंबर के परिणामस्वरूप बैंकिंग या निवेश सेवाएं निलंबित हो सकती हैं।
आगामी नियम एवं सावधानियां
1 जनवरी, 2026 से आधार सक्षम भुगतान प्रणाली (एईपीएस) पर नए केवाईसी और धोखाधड़ी-निगरानी नियम लागू होंगे।
आरडी, पीपीएफ और एनएससी जैसे डाकघर खाते अब आधार ई-केवाईसी का उपयोग करके खोले जा सकते हैं, लेकिन पुराना या अनलिंक किया गया आधार जमा और निकासी को अवरुद्ध कर सकता है।
आधार धारकों को अब क्या करना चाहिए:
UIDAI वेबसाइट या mAadhaar ऐप के जरिए आधार स्थिति जांचें।
आयकर पोर्टल पर पैन-आधार लिंकिंग सत्यापित करें।
बैंक और निवेश खातों में आधार विवरण अपडेट करें।
ग्रामीण उपयोगकर्ताओं को AePS अपडेट के लिए सहकारी बैंकों या आधार सेवा केंद्रों से परामर्श लेना चाहिए।
आधार से जुड़े सभी केवाईसी विवरण नियमित रूप से अपडेट रखें।
इन परिवर्तनों के साथ, आधार को अपडेट करना तेज़, सुरक्षित और अधिक सुविधाजनक है, जिससे यह सुनिश्चित होता है कि उपयोगकर्ता नवीनतम सरकारी नियमों का अनुपालन करते रहें।
(टैग्सटूट्रांसलेट)आधार अपडेट 2025(टी)आधार ऑनलाइन अपडेट(टी)यूआईडीएआई समाचार(टी)आधार केवाईसी(टी)आधार पैन लिंकिंग(टी)आधार बायोमेट्रिक अपडेट(टी)आधार ई-केवाईसी(टी)आधार ऑफ़लाइन केवाईसी(टी)आधार बिना दस्तावेजों के अपडेट(टी)आधार शुल्क(टी)आधार कार्ड अपडेट(टी)आधार स्थिति जांच(टी)पैन-आधार लिंक(टी)आधार सेवा केंद्र(टी)एमआधार ऐप(टी)आधार ग्रामीण अपडेट(टी)एईपीएस नियम(टी)आधार बैंकिंग केवाईसी(टी)आधार डाकघर खाता(टी)आधार निवेश अपडेट(टी)आधार अपडेट की समय सीमा(टी)आधार अपडेट प्रक्रिया(टी)यूआईडीएआई नवीनतम(टी)आधार दस्तावेज़ अपडेट(टी)आधार डीओबी अपडेट(टी)आधार एड्रेस अपडेट(टी)आधार मोबाइल अपडेट(टी)आधार शुल्क परिवर्तन(टी)आधार ऑनलाइन पोर्टल(टी)आधार अनुपालन

